प्रो. (डॉ.) शरद नारायण खरे
☆ गीत – मेरा भारत महान – ☆ प्रो. (डॉ.) शरद नारायण खरे ☆
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चंद्रयान पहुँचा चंदा पर,तीन रंग फहराये।
शान बढ़ी,सम्मान बढ़ गया,हम सारे हर्षाये।।
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ज़ीरो को खोजा था हमने,आर्यभट्ट पहुँचाया।
छोड़ मिसाइल शक्ति बने हम,सबका मन लहराया।।
सबने मिल जयनाद गुँजाया,जन-गण-मन सब गाये।
शान बढ़ी,सम्मान बढ़ गया,हम सारे हर्षाये।।
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मैं महान हूँ,कह सकते हम,हमने यश को पाया।
एक महागौरव हाथों में,आज हमारे आया।।
जिनको नहीं सुहाते थे हम,उनको हम हैं भाये।
शान बढ़ी,सम्मान बढ़ गया,हम सारे हर्षाये।।
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जो कहते थे वे महान हैं,उनको धता बताया।
भारत गुरु है दुनिया भर का,यह हमने जतलाया।।
शान तिरंगा-आन तिरंगा,गीत लबों पर आये।
शान बढ़ी,सम्मान बढ़ गया,हम सारे हर्षाये।।
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अंधकार में किया उजाला,ताक़त को बतलाया।
जो समझे थे हमको दुर्बल,उन पर भय है आया।।
जोश लिये हर जन उल्लासित,हम हर दिल पर छाये।
शान बढ़ी,सम्मान बढ़ गया,हम सारे हर्षाये।।
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ज्ञान और विज्ञान रचे हम,हमने शशि को पाया।
आशाओं का सूरज दमका,हमने नवल रचाया।।
नया और अनुपम-मंगलमय,विजय-ध्वजा फहराये।
शान बढ़ी,सम्मान बढ़ गया,हम सारे हर्षाये।।
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© प्रो.(डॉ.)शरद नारायण खरे
प्राचार्य, शासकीय महिला स्नातक महाविद्यालय, मंडला, मप्र -481661
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