श्री जय प्रकाश पाण्डेय
(श्री जयप्रकाश पाण्डेय जी की पहचान भारतीय स्टेट बैंक से सेवानिवृत्त वरिष्ठ अधिकारी के अतिरिक्त एक वरिष्ठ साहित्यकार की है। वे साहित्य की विभिन्न विधाओं के सशक्त हस्ताक्षर हैं। उनके व्यंग्य रचनाओं पर स्व. हरीशंकर परसाईं जी के साहित्य का असर देखने को मिलता है। परसाईं जी का सानिध्य उनके जीवन के अविस्मरणीय अनमोल क्षणों में से हैं, जिन्हें उन्होने अपने हृदय एवं साहित्य में सँजो रखा है।आज प्रस्तुत है आपकी एक भावप्रवण कविता ‘जीवन मंत्र’)
☆ कविता # 99 ☆ जीवन मन्त्र ☆ श्री जय प्रकाश पाण्डेय☆
अपने से ऊपर
वालों को देखो
तो लगता है,
कुछ भी नही है
हमारे पास……
अपने से नीचे
वालों को देखो
तो लगता है,
बहुत कुछ है
हमारे पास……
ज़िन्दगी में जो
मिला हैउससे
कभी न हों,
उदास क्योंकि…
खुदा ने हमारे
लिए वही चुना
है जो हमारे लिए
है बहुत खास….
© जय प्रकाश पाण्डेय
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