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(साहित्यिक एवं सांस्कृतिक समाचार)
☆ पाथेय साहित्य कला अकादमी का आयोजन – डॉ. तनूजा चौधरी को मिला डॉ. गायत्री कथा सम्मान ☆ साभार – डॉ भावना शुक्ल ☆
पाथेय साहित्य कला अकादमी का आयोजन – समाजोपयोगी होता है मूल्य परक सृजन…
जबलपुर। डॉ. तनूजा चौधरी का समग्र लेखन सामाजिक संचेतना का प्रतीक है। उनकी कहानियॉ नई पीढ़ी के भटकाव समाज और जीवन की बिडम्वना, स्त्री अस्मिता के प्रति चिंता प्रकट करती हैं। कथा लेखिका स्व. डॉ. गायत्री तिवारी की रचनाओं में भी ऐसा ही प्रेरक प्रभावी चिंतन है। डॉ. तिवारी ने समाज के अंतिम वर्ग की रक्षा के लिए सृजन किया।ऐसा सृजन जिससे सामाजिक जागृति और मूल्यों की रक्षा हो,वह समाज और राष्ट्र के लिए उपयोगी होता है।
तदाशय के उद्गार पाथेय साहित्य कला अकादमी द्वारा आयोजित गायत्री कथा सम्मान समारोह में अतिथियों ने कला वीथिका व्यक्त किए। वर्ष 2024 के गायत्री कथा सम्मान से डॉ. तनूजा चौधरी को नगद राशि अलंकरण, मानपत्र, शाल से अतिथियों सहित डॉ. भावना शुक्ल, प्रेमनारायण शुक्ल, नोएडा, डॉ. कामना कौस्तुभ, जगदीश कन्थारिया, किशनगढ़, डॉ. हर्ष तिवारी, मोहिनी तिवारी, आराध्या तिवारी ‘प्रियम’ ने सम्मानित किया।
इस अवसर पर विविध क्षेत्रों में क्रियाशील श्री राजेन्द्र मिश्रा, श्री नीलेश रावल, डॉ. नीना उपाध्याय, इंजी दुर्गेश व्यौहार दर्शन, श्री समर सिंह, डॉ. मंजू गोरे, दीपचंद विनोदिया, मेहेर प्रकाश उपाध्याय, रामकिशोर सोनी को उनकी बहुआयामी सेवाओं एवं उपलब्धियों के लिए गायत्री विविधा सम्मान से अलंकृत किया गया। साथ ही ब्राह्मण स्वयंवर संस्कार महासभा एवं सुप्रभातम संस्था के पदाधिकारियों को सामाजिक जागृति के लिए सम्मानित किया।
डॉ राजेश पाठक प्रवीण ने सम्मानितजनों के व्यक्तित्व-कृतित्व पर प्रकाश डाला।
समारोह की मुख्य अतिथि डॉ. स्वाति सदानंद गोडवोले पूर्व महापौर रहीं। अध्यक्षता महाकवि आचार्य भगवत दुबे ने की। सारस्वत अतिथि डॉ हरिशंकर दुबे, डॉ. स्मृति शुक्ला प्राचार्य मानकुंवर महाविद्यालय थीं।
अध्यक्षता कर रहे महाकवि आचार्य भगवत दुबे ने कहा कि सम्मान देना संस्कारधानी की गौरवशाली परम्परा है। इससे सकारात्मक कार्यों की प्रेरणा मिलती है।
प्रारंभ में अतिथियों का स्वागत मथुरा जैन, यशोवर्धन पाठक, सुभाष शलभ, संतोष नेमा, विजय अनुज, विनोद नयन, गणेश प्यासा, अर्चना मलैया, डॉ सलमा जमाल, छाया त्रिवेदी, सलपनाथ यादव, साधना उपाध्याय, निर्मिला तिवारी, डॉ.मृदुला सिंह, डॉ छाया सिंह, डॉ. संजय तिवारी, गणेश प्यास, डॉ. सलपनाथ यादव, ने किया। संचालन राजेश पाठक प्रवीण एवं आभार डॉ. भावना शुक्ल ने व्यक्त किया।
साभार – डॉ. भावना शुक्ल
≈ श्री हेमन्त बावनकर/सम्पादक (हिन्दी) – श्री विवेक रंजन श्रीवास्तव ‘विनम्र’ ≈