डॉ भावना शुक्ल
☆ साप्ताहिक स्तम्भ # 76 – साहित्य निकुंज ☆
☆ स्वागत ☆
बीस गया है बीत
जीवन की है रीत
रात के बाद आता है प्रभात
आने वाले का करना है स्वागत।
नव वर्ष का है स्वागत
साथ लाए खुशियों की बौछार।
छिने न कभी किसी का प्यार।।
बीस में सबने बहुत कुछ खोया।
मन बार बार है सभी का रोया।
बीती बातों का दिल में नहीं है रखना।
बस मन में मधुरिम याद ही संजोना।।
आने वाला हर पल होगा नवनीत।
नव जीवन नव सृजन से होगा सृजित।।
विगत को जाने दो ससम्मान
नहीं करो अपमान।
क्योंकि बीस के बाद आता है इक्कीस।
मन में जगाता है उम्मीद उमंग
भरता है प्यार के रंग।।
करो स्वागत करो स्वागत
शुभ स्वागत….
© डॉ.भावना शुक्ल
सहसंपादक…प्राची
प्रतीक लॉरेल , C 904, नोएडा सेक्टर – 120, नोएडा (यू.पी )- 201307
≈ ब्लॉग संपादक – श्री हेमन्त बावनकर/सम्पादक मंडल (हिन्दी) – श्री विवेक रंजन श्रीवास्तव ‘विनम्र’/श्री जय प्रकाश पाण्डेय ≈
नया साल शुभ हो