डॉ भावना शुक्ल

(डॉ भावना शुक्ल जी  (सह संपादक ‘प्राची‘) को जो कुछ साहित्यिक विरासत में मिला है उसे उन्होने मात्र सँजोया ही नहीं अपितु , उस विरासत को गति प्रदान  किया है। हम ईश्वर से  प्रार्थना करते हैं कि माँ सरस्वती का वरद हस्त उन पर ऐसा ही बना रहे। आज प्रस्तुत हैं भावना के दोहे – नववर्ष )

☆ साप्ताहिक स्तम्भ  # 261 – साहित्य निकुंज ☆

☆ भावना के दोहे – नववर्ष ☆ डॉ भावना शुक्ल ☆

कहते हैं हम अलविदा, जाने वाला साल।

मीठी यादें हैं बहुत, रखना इसे सम्भाल।।

*

अंतर कुछ भी है नहीं, मन में यही सवाल।

दिवस-रात चलते रहें, तभी बदलता साल।।

*

चन्दा-सूरज हैं वही, नहीं बदलती चाल।

दिवस-महीने बोलते, सज्जित होता साल।।

*

 कैलेंडर बदलाव से, कहाँ बदलते हाल।

बदलो अपनी सोच को, रहता यही सवाल।।

*

खुशियों की है पोटली, लेकर आया वर्ष।

बाँट रहा मुस्कान यों, दिल में छाया हर्ष।।

© डॉ भावना शुक्ल

सहसंपादक… प्राची

प्रतीक लॉरेल, J-1504, नोएडा सेक्टर – 120,  नोएडा (यू.पी )- 201307

मोब. 9278720311 ईमेल : [email protected]

≈ संपादक – श्री हेमन्त बावनकर/सम्पादक मंडल (हिन्दी) – श्री विवेक रंजन श्रीवास्तव ‘विनम्र’/श्री जय प्रकाश पाण्डेय  ≈

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