श्री आशिष बिवलकर
चित्रकाव्य
– काळ आला होता पण…–
☆ श्री आशिष बिवलकर ☆
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देशाची प्रगती | श्रमिकांचे काम |
तेच पुण्यधाम | त्यांच्यासाठी ||१||
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बोगदा बनला | मृत्यूचा सापळा |
आमंत्रण काळा | देण्यासाठी ||२||
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एक्केचाळीस ते | कठोर श्रमिक |
मृत्यू अनामिक | वाटेवर ||३||
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थरथरे भूमी | अडकले जीव |
मृत्यूची जाणीव | मजुरांना ||४||
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सेवेला तत्पर | बचाव पथक !
प्रयत्न अथक | देवदूत ||५||
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प्रत्येक चेहरा | सुटकेचा भाव |
पुनर्जन्म ठाव | याची देही ||६||
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संकट मोचन | आला होता काळ !
नाही आली वेळ | बिब्बा म्हणे ||७||
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© श्री आशिष बिवलकर
बदलापूर
मो 9518942105
≈संपादक – श्री हेमन्त बावनकर/सम्पादक मंडळ (मराठी) – सौ. उज्ज्वला केळकर/श्री सुहास रघुनाथ पंडित /सौ. मंजुषा मुळे/सौ. गौरी गाडेकर≈