श्री एस के कपूर “श्री हंस”

 

☆ “श्री हंस” साहित्य # 145 ☆

☆ मुक्तक – ।। थोड़ा-थोड़ा बदलो रोज नाम रोशन हो जाएगा ।। ☆ श्री एस के कपूर “श्री हंस” ☆

=1=

थोड़ा-थोड़ा रोज बदलो  काम हो जाएगा।

देखना एक दिन रोशन   नाम हो जाएगा।।

कर्म से गुजर कर लिखो  दिल की कलम से।

एक दिन देखते-देखते वह पैगाम हो जाएगा।।

=2=

जो दोगे सम्मान वह  अधिक होकर आएगा।

सबको साथ लेकर चलो इंतजाम हो जाएगा।।

सहयोग सद्भावना होते हैं मूल मंत्र जीवन के।

साथ मिलके करो अभियान सफल हो पाएगा।।

=3=

अनुभव से सीखो आगे आराम हो जाएगा।

मांगों सबके लिए दुआ नेक नाम तू पाएगा।।

हटा के घृणा तुम भरो   भाव प्रेम का केवल।

नफरत की डोर कटते ही प्यार एतराम लाएगा।।

=4=

पहले दूसरे को नहीं खुद को बदलना जरूरी है।

जब सब मिलके बदलेंगे तब बात होगी पूरी है।।

परिवार समाज बदले तो राष्ट्र भी बदल जाएगा।

प्रेम निर्मल धारा में बह जाएगी सारी मगरूरी है।।

© एस के कपूर “श्री हंस”

बरेलीईमेल – Skkapoor5067@ gmail.com, मोब  – 9897071046, 8218685464

≈ संपादक – श्री हेमन्त बावनकर/सम्पादक मंडल (हिन्दी) – श्री विवेक रंजन श्रीवास्तव ‘विनम्र’/श्री जय प्रकाश पाण्डेय  ≈
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