ई-अभिव्यक्ति:  संवाद–43

☆ श्रीमति उर्मिला उद्धवराव इंगळे को उनके अमृत महोत्सव (75 वांजन्मदिवस) 

एवं 

कैप्टन प्रवीण रघुवंशी जी को शोध पत्र “हिंदी-उर्दू  अनुवादों के माध्यम से अंतर-सांस्कृतिक संवाद”

के लिए हार्दिक शुभकामनायें

 

प्रिय मित्रों,

आज के संवाद के माध्यम से मुझे पुनः आपसे विमर्श का अवसर प्राप्त हुआ है।

हमें अत्यंत प्रसन्नता है कि ई- अभिव्यक्ति से सम्बद्ध साहित्यकारों को समय समय पर विभिन्न सम्मान और पुरस्कारों से सम्मानित / अलंकृत होने के अवसर प्राप्त होते रहते हैं।  हम उन सभी साहित्यकारों को अपनी हार्दिक शुभकामनाएं देते हैं एवं उन्हें साहित्य के क्षेत्र में नए आयामों को सफलतापूर्वक पाने के लिए ह्रदय से शुभकामनाएं देते हैं।

सर्वप्रथम मैं वरिष्ठ मराठी साहित्यकार एवं अग्रजा श्रीमति उर्मिला उद्धवराव इंगळे को उनके अमृत महोत्सव (75 वें जन्मदिवस) के शुभ अवसर पर आप सब की और से स्वस्थ जीवन की हार्दिक शुभकामनाएं  देना चाहता हूँ। मैं उनके इस वय में भी समय के साथ स्वयं को परिवर्तित कर तकनीकी ज्ञान प्राप्त करने की अद्भुत लालसा से अत्यंत प्रभावित हूँ एवं अपनी प्रेरणा स्त्रोत के रूप में देखता हूँ। वे हम सबके लिए प्रेरणा स्त्रोत हैं एवं हमें किसी भी वय में  सीखने  के लिए प्रेरित करती हैं।

हम वरिष्ठ एवं बहुआयामी प्रतिभा के धनी साहित्यकार मित्र कैप्टन प्रवीण रघुवंशी जी को एक महत्वपूर्ण उपलब्धि  के लिए हार्दिक बधाई देते हैं।  कैप्टन प्रवीण रघुवंशी जी को इंद्रप्रस्थ महाविद्यालय, दिल्ली विश्वविद्यालय में 9 से 11 जनवरी 2020 को  आयोजित होने वाले अंतर्राष्ट्रीय हिंदी सम्मलेन ” हिंदी : वैश्विक परिप्रेक्ष्य – भाषा, साहित्य और अनुवाद” में भागीदारी और उनके शोध पत्र “हिंदी – उर्दू  अनुवादों के माध्यम से अंतर  – सांस्कृतिक  संवाद”  को प्रस्तुत करने की स्वीकृति प्राप्त हुई है। यह कार्यक्रम दिल्ली विश्वविद्यालय द्वारा कोलंबिया  विश्वविद्यालय  एवं न्यूयॉर्क विश्वविद्यालय द्वारा प्रायोजित किया गया है। 

यह हम सब के लिए गर्व का विषय है।

ई-अभिव्यक्ति से परोक्ष एवं अपरोक्ष  रूप से सम्बद्ध सभी साहित्यकार मित्रों को उनकी साहित्यिक यात्रा में ऐसे  उन्नतअवसरों के लिए हमारी हार्दिक शुभकामनाएं।

आपसे अनुरोध है कि ऐसे सुअवसरों को ई – अभिव्यक्ति  के माध्यम से अवश्य साझा करें। हमें आपकी सफलता की सूचना मित्र साहित्यकारों से साझा करने में अत्यंत प्रसन्नता होगी।

 

हेमन्त बावनकर

8 नवम्बर 2019

( व्यक्तिगत एवं तकनीकी कारणों से 8 एवं 9 नवम्बर का संयुक्तांक प्रकाशित करने के लिए हार्दिक खेद है । आपके स्नेह के लिए आभार ।)

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